इस लेख में आप जानेंगे लिप कैंसर क्या होता है, कारण, रिस्क फैक्टर, लक्षण, निदान, इलाज, जटिलताएं और बचाव –

लिप कैंसर क्या होता है? – what is lip cancer?

  • लिप कैंसर सेल्स की असामान्य ग्रोथ जो आउट ऑफ कंट्रोल हो जाती है.
  • साथ ही कटाव या ट्यूमर का रूप होंठो पर हो जाता है.
  • होंठों का कैंसर एक प्रकार की ओरल कैंसर है.
  • यह पतले, फ्लैट सेल्स में विकसित होते है जिसे स्क्वैमस सेल्स कहा जाता है.
  • स्क्वैमस सेल्स लिप्स, मुंह, जीभ, गाल, साइनस, गला, हार्ड और सॉफ्ट पैलेट शामिल है. (जानें – साइनस इंफेक्शन के लक्षणों के बारे में)
  • लिप कैंसर और अन्य प्रकार के ओरल कैंसर सिर और गर्दन कैंसर के प्रकार है.
  • कुछ लाइफस्टाइल फैक्ट लिप कैंसर के रिस्क को बढ़ा देते है जैसे सिगरेट पीना, भारी शराब का उपयोग, अधिक सूर्य का एक्सपोजर, टेनिंग आदि.
  • आमतौर पर डेंटिस्ट को माना जाता है कि वह रूटीन डेंटल एग्जाम के दौरान लिप कैंसर का पता लगा सकते है.
  • शुरुआती स्टेज में निदान होने पर लिप कैंसर का निदान कर बचाव किया जा सकता है.

लिप कैंसर के कारण क्या है? – what causes lip cancer?

  • कई अंतरराष्ट्रीय संस्थाओं के अनुसार, तंबाकू और शराब का अधिक सेवन करने के कारण ओरल कैंसर हो जाता है.
  • सूर्य का एक्सपोजर भी एक बड़ा फैक्टर है विशेषकर आउटडोर काम करने वाले लोगों के लिए.

लिप कैंसर के रिस्क पर कौन है? – who is at the risk of lip cancer?

  • स्मोकिंग या तंबाकू प्रोडक्ट का सेवन करना
  • लाइट कलर स्किन होना
  • एचपीवी होना
  • सीधे सूर्य की रोशनी के संपर्क में आना
  • शराब का उपयोग करना
  • 40 साल से अधिक आयु होने
  • जो लोग तंबाकू और शराब दोनों का सेवन करते है उनको इसका रिस्क बहुत अधिक है.

लिप कैंसर के लक्षण क्या है? – what are the symptoms of lip cancer?

  • मुंह में कोई कटाव, छाला या अल्सर जो ठीक नहीं होता है.
  • होंठ पर लाल या सफेद पैच होना
  • जबड़े की सूजन
  • ब्लीडिंग या लिप्स में दर्द
  • इसके अलावा लिप कैंसर का कोई लक्षण नहीं होता है.
  • डेंटिस्ट द्वारा रूटीन चेकअप में ही इसे नोटिस किया जा सकता है.
  • अगर आपके लिप पर कोई छाला या उभार है तो जरूरी नहीं कि वह लिप कैंसर ही हो. ऐसे में डॉक्टर से मिलकर जानकारी लेनी चाहिए.

लिप कैंसर का निदान कैसे होता है? – how is lip cancer diagnosed?

  • डॉक्टर द्वारा शारीरिक एग्जाम किया जाता है जिसमें मुंह के असामान्य एरिया को देखकर समस्या का निदान किया जाता है.
  • गले की सूजी हुई नॉड्स को भी चेक किया जाता है.
  • डॉक्टर द्वारा हेल्थ इतिहास, शराब और धूम्रपान के बारे में, पुरानी बीमारी, मेडिकल और डेंटल ट्रीटमेंट, किसी दवा का उपयोग समेत पारिवारिक इतिहास के बारे में पूछा जाता है.
  • लिप कैंसर की आशंका होने पर बायोप्सी कर निदान किया जाता है.
  • बायोप्सी के दौरान प्रभावित एरिया से सैंपल लिया जाता है जिसे लैब में परीक्षण किया जाता है.
  • टेस्ट में लिप कैंसर के आ जाने पर डॉक्टर द्वारा अन्य टेस्ट करवाएं जा सकते है.

अन्य टेस्ट

  • सीटी स्कैन
  • एमआरआई स्कैन
  • चेस्ट एक्स-रे
  • एंडोस्कोपी
  • सीबीसी
  • पीईटी स्कैन

लिप कैंसर का इलाज कैसे होता है? – how is lip cancer treated?

  • लिप कैंसर के लिए उपलब्ध इलाजों में सर्जरी, रेडिएशन थेरेपी और कीमोथेरेपी शामिल है.
  • अन्य संभावित इलाज में टारगेट थेरेपी, इम्यूनोथेरेपी और जेन्स थेरेपी शामिल है.
  • सामान्य हेल्थ और ट्यूमर के साइज के आधार पर कैंसर के स्टेज का इलाज होता है.
  • इसमें कैंसर के टिश्यू का रिमूवल शामिल है. साथ ही होंठों को फिर से बनाना आदि होता है.
  • ट्यूमर के बढ़ा या बाद की स्टेज में होने, रेडिएशन और कीमोथेरेपी का उपयोग कर ट्यूमर को छोटा किया जाता है. (जानें – लिप्स को पिंक कैसे करें)
  • इससे सर्जरी के बाद ट्यूमर के फिर से होने के मौके कम हो जाते है.
  • कीमोथेरेपी ट्रीटमेंट में ड्रग पूरे शरीर में जाता है जिससे कैंसर के फैलने और वापस आने का रिस्क कम हो जाता है.
  • स्मोक करने वाले लोगों को इलाज शुरू करने से पहले स्मोकिंग छोड़ देनी चाहिए.

लिप कैंसर की संभावित जटिलताएं किसे होती है?

  • इलाज न करवाने पर लिप का ट्यूमर मुंह के दूसरे हिस्सों समेत जीभ आदि तक फैल सकता है.
  • कैंसर के फैलने पर इसका इलाज बहुत कठिन हो जाता है.
  • लिप कैंसर ट्रीटमेंट के कई फंक्शनल और कॉस्मेटिक परिणाम हो सकते है.
  • होंठ से बड़े ट्यूमर के हटने पर बोलने में परेशानी, चबाने में परेशानी और सर्जरी के बाद निगलने में दिक्कत का सामना करना पड़ सकता है.
  • सर्जरी के कारण चेहरे और लिप पर विरूपता हो सकती है.
  • कॉस्मेटिक सर्जन द्वारा चेहरे की हड्डी और टिश्यू फिर से बनाए जा सकते है.

कीमोथेरेपी और रेडिएशन के साइड इफेक्ट में –

  • हेयर लॉस
  • भूख न लगना
  • उल्टी
  • मतली
  • थकान
  • कमजोरी
  • ड्राई स्किन
  • वजन कम होना
  • हाथ और तलवों का सुन्न होना
  • गले में खराश
  • स्वाद में बदलाव
  • इंफेक्शन

लिप कैंसर से बचाव कैसे होता है? – how can lip cancer be prevented?

  • लिप कैंसर से बचाव का बेहतर तरीका है कि सभी प्रकार के तंबाकू, शराब का उपयोग, नैचरल या कृत्रिम सूर्य की रोशनी का एक्सपोजर आदि से बचना चाहिए.
  • होंठ के कैंसर के अधिक मामले सबसे पहले डेंटिस्ट द्वारा पता लगाए जाते है.

अंत में

लिप कैंसर का इलाज संभव है क्योंकि यह होंठ पर दिख और महसूस आसानी से किया जा सकता है. जिससे जल्दी ही निदान करना संभव हो पाता है.

पहले लिप कैंसर होने पर सिर, गर्दन या मुंह के कैंसर का विकसित होने का रिस्क बढ़ जाता है. लिप कैंसर का ट्रीटमेंट होने के बाद बार-बार डॉक्टर से फॉलो-अप सलाह लेते रहनी चाहिए.

References –

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