प्राचीन काल से ही शहद का उपयोग भोजन समेत अनेक उपचारों में होता रहा है. इसमें कई जरूरी प्लांट कंपाउंड होने के अलावा यह बहुत सारे स्वास्थ लाभ से पूर्ण होता है. चीनी के स्थान पर शहद का उपयोग काफी हेल्दी होता है. आज इस लेख में हम आपको बताने वाले है शहद के फायदे –

शहद के फायदे – What are the benefits of honey in hindi?

ब्लड प्रेशर कम करने

  • हार्ट रोग में ब्लड प्रेशर एक अहम फैक्टर होता है लेकिन शहद की मदद से इसे कम किया जा सकता है.
  • इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट कंपाउंड लो ब्लड प्रेशर से लिंक होते है.
  • रिसर्चों में देखा गया है कि शहद के नियमित सेवन से हाई ब्लड प्रेशर की समस्या में कमी आती है.

कोलेस्ट्रोल लेवल बेहतर करने

  • खराब (एलडीएल) कोलेस्ट्रोल के लेवल बढ़ने से हार्ट रोग समेत कई रोगों को रिस्क बढ़ जाता है.
  • इससे फैटी लिवर जैसी समस्याओं का रिस्क बढ़ जाता है जिसमें आर्टरिज पर फैट बनने व जमा होने लगता है.
  • कई अध्ययनों के अनुसार, शहद से कोलेस्ट्रोल लेवल बेहतर करने में मदद मिलती है.
  • साथ ही शहद से अच्छे (एचडीएल) कोलेस्ट्रोल लेवल बढ़ाने में मदद मिलती है.

पोषक तत्व

  • मीठा, पतला तरल जैसा शहद मधुमक्खियों के छत्ते से लिया जाता है.
  • मधुमक्खियाँ फूलों पर बैठकर उनके तत्व को चूसती है जिससे शुगर मिलती है.
  • जबकि छत्ते के अंदर वह लगातार पचाए गए भोजन को स्टोर करती है जिसे शहद कहा जाता है.
  • शहद का रंग, गंध और स्वाद मधुमक्खियों द्वारा चूसे गए फूलों पर निर्भर करता है.
  • पोषक रूप से, 1 चम्मच या 21 ग्राम शहद में 64 कैलोरी, 17 ग्राम चीनी समेत ग्लूकोज, मालटोज, सुक्रोज, फ्रूकटोज होते है.
  • इसमें कोई फाइबर, फैट या प्रोटीन नही होता है.
  • शहद में कई विटामिन और मिनरल मौजूद होते है लेकिन इसके लिए आपको ज्यादा मात्रा में शहद खाना पड़ेगा.
  • सबसे जरूरी शहद में एंटीऑक्सीडेंट और बायोएक्टिव कंपाउंड मौजूद होते है.
  • हल्के रंग वाले शहद की तुलना में डार्क रंग वाले शहद में इन कंपाउंड की मात्रा ज्यादा होती है.

एंटीऑक्सीडेंट

  • अच्छी गुणवत्ता वाले शहद में जरूरी एंटीऑक्सीडेंट होते है.
  • जिसमें ऑर्गेनिक एसिड और फैनॉलिक कंपाउंड जैसे फ्लेवोनॉइड होते है.
  • वैज्ञानिकों के अनुसार इन्ही कंपाउंड के कारण शहद में एंटीऑक्सीडेंट ताकत आती है.
  • एंटीऑक्सीडेंट को हार्ट अटैक, स्ट्रोक समेत कुछ प्रकार के कैंसर के रिस्क को कम करने में मदद करती है.
  • साथ ही यह आंखों के लिए भी अच्छे होते है. 

डायबिटीज रोगियों के लिए

  • हालांकि, शहद और मधुमेह से जुड़े साक्ष्य मिले जुले है.
  • एक तरफ यह काफी सारे रिस्क फैक्टर जैसे टाइप 2 डायबिटीज वाले रोगियों में हार्ट रोग का खतरा कम करने में मदद करता है.
  • साथ ही खराब कोलेस्ट्रोल, ट्राइग्लिसराइड और इंफ्लामेशन कम करने के साथ अच्छे कोलेस्ट्रोल को बढ़ाता है.
  • कुछ अध्ययनों के अनुसार, यह ब्लड शुगर लेवल को बढाता है लेकिन वह रिफाइंड शगर जितना नही होता है.
  • हालांकि, मधुमेह रोगियों में रिफाइंड शुगर की तुलना में शहद का इस्तेमाल बेहतर रहता है. लेकिन इसे सावधानी के साथ प्रयोग करना चाहिए.
  • ध्यान रखें कि कुछ प्रकार का शहद प्लेन सिरप के साथ मिलावट वाला हो सकता है. हालांकि दुनिया में काफी सारे देशों में मिलावट प्रतिबंधित है परंतु ऐसा होता है.

बच्चों में खांसी के लिए

  • ऊपरी रेस्पिरेट्री इंफेक्शन वाले बच्चों में खांसी होना काफी आम है.
  • इस तरह के इंफेक्शन बच्चों व बड़ो की नींद और गुणवत्ता को प्रभावित कर सकते है.
  • हालांकि, हर मामले में जरूरी नही कि एलोपैथी इलाज सही रहें और खांसी को ठीक कर दे.
  • ऐेसे में शहद आपको बेहतर परिणाम दे सकता है. 
  • कुछ अध्ययनों में देखा गया है कि यह खांसी के लक्षणों को कम करके दवाओं की तुलना में नींद को बेहतर करता है.

ट्राइग्लिसराइड लेवल कम करने

  • ब्लड में ट्राइग्लिसराइड का स्तर बढ़े रहने के कारण भी हार्ट रोग का रिस्क रहता है.
  • यह इंसुलिन संवेदनशीलता से जुड़े होते है.
  • हाई शुगर और रिफाइंड कार्ब्स की डाइट के कारण ट्राइग्लिसराइड लेवल बढ़ने का खतरा रहता है.
  • काफी सारे अध्ययनों में देखा गया है कि नियमित रूप से चीने के स्थान पर शहद के सेवन से ट्राइग्लिसराइड का लेवल कम हो जाता है.

हार्ट हेल्थ के लिए

  • शहद को फेनॉल्स और अन्य एंटीऑक्सीडेंट कंपाउंड का अच्छा सोर्स माना जाता है.
  • जिससे हार्ट समेत कई अन्य रोगों के रिस्क कम होते है.
  • इससे हार्ट की आर्टरिज को बेहतर रूप से ब्लड फ्लो को बढ़ाने में मदद करते है.
  • साथ ही इससे ब्लड क्लॉट बनने से बचाव होता है जो हार्ट अटैक और स्ट्रोक के मुख्य कारण होते है.

घाव भरने में मदद करने

  • मिस्त्र में प्राचीन काल से ही शहद का उपयोग फोड़े और जख्मों को भरने के लिए किया जाता रहा है.
  • कई अध्ययनों में देखा गया है कि शहद की मदद से फोड़े, फुंसी समेत जख्मों को इंफेक्शन से बचाने में मदद मिलती है.
  • डायबिटीक लोगो में पैरों के छालों में शहद को प्रभावी उपचार माना जाता है.
  • रिसर्च करने वाले लोगों की माने तो शहद में मौजूद एंटीबैक्टीरियल और एंटी इंफ्लामेटरी गुुणों के कारण यह घावों के भरने में प्रभावी है.
  • शहद का उपयोग अन्य स्किन कंडीशन जैसे सोरायसिस और हर्पस घावों का इलाज करने में भी किया जाता है.

अंत में

शहद स्वादिष्ट होता है और शुगर से बेहतर रहता है. इसका सेवन बहुत ज्यादा भी नही करना चाहिए क्योंकि इसमें हाई कैलोरी और शुगर कंटेट होता है. लेकिन आज के समय को देखे तो रिफाइंड चीनी को मिलाने से बेहतर है कि नैचुरल शुगर शहद का इस्तेमाल किया जाए. 

References –

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