काफी सारे लोग दांतों की सेहत को लेकर कुछ खासा ध्यान नहीं देते. जिस कारण उनके दांतों में कैविटी की समस्या हो जाती है. इस लेख में आप जानेंगे घर में कैविट से छुटकारा पाने के तरीकों के बारे में –
घर में कैविटी से छुटकारा कैसे पाएं – How to Get Rid of Cavities at home in hindi
विटामिन डी
- हमारे द्वारा खाएं गए भोजन से कैल्शियम और फोस्फेट का अवशोषण करने के लिए विटामिन डी बहुत जरूरी है.
- अध्ययनों में देखने को मिला है कि हाई विटामिन डी की मात्रा वाले फ़ूड्स जैसे दूध, दही, आदि खाने से बच्चों में कैविटी की रिस्क कम हो जाता है.
शुगर फ़ूड्स के सेवन कम करना
- WHO के अनुसार, कैविटी होने के कारणों में से एक शुगर का सेवन है.
- कुल कैलोरी में शुगर के सेवन को 10 फीसदी तक कम करने से लाभ मिल सकता है.
ऑयल पुल्लिंग
- यह प्राचीन प्रक्रिया है जिसमें मुंह में एक चम्मच नारियल आदि तेल को रखकर उसे मुंह में घूमाना है.
- तेल को मुंह में कम से कम 20 मिनट के घूमाए और फिर कुल्ला कर लें.
- ऐसा करने से मुंह से टॉक्सिन बाहर आ जाते है.
- साथ ही इससे मुंह में मौजूद बैक्टीरिया, प्लेग समेत अन्य बीमारियों को कम करने में मदद मिलती है.
फ्लूओराइड टूथपेस्ट से ब्रश करना
- इनेमल की कोटिंग को ठीक करने और कैविटी से बचाव में फ्लूओराइड काफी अहम रोल प्ले करता है.
- हालांकि, इस पर अभी अधिक अध्ययनों की जरूरत है. (सेंसिटिव दांतों के लिए क्या करें)
मुलेठी की जड़
- एक अध्ययन के अनुसार इससे डेंटल कैविटी के लिए जिम्मेदार बैक्टीरिया से लड़ने में मदद मिलती है.
- इसके अलावा कैविटी से बचाव करने में मददगार साबित होती है.
शुगर फ्री गम
- क्लीनिकल ट्रायल में देखने को मिला है कि भोजन के बाद शुगर फ्री गम चबाने से इनेमल को होने वाले नुकसान को कम किया जा सकता है.
- जिन गम में ज़ाइलिटॉल होता है उनमें लार के फ्लो को उत्तेजित करने की क्षमता होती है.
- साथ ही ऐसे गम प्लेग के पीएच लेवल को बढ़ा देते है.
- हालांकि, इसमें लंबे अध्ययन की जरूरत है.
कैविटी के कारण क्या होते है? – What causes cavities in hindi?
- डेंटल कैविटी, दांत पर मौजूद एक छोटा छेद जो दांत के हार्ड सरफेस पर होता है.
- इसका कारण दांत के सरफेस पर बैक्टीरिया जमा होना होता है.
- दांत की सतह पर बैक्टीरिया शुगर से एसिड बनाता रहता है.
- सड़न अधिक हो जाने पर यह दांतों के ऊपर चिपचिपी पदार्थ दिखने लगता है जिसे प्लेग कहते है.
- प्लेग के कारण बनने वाले एसिड दांत के इनेमल से मिनरल को हटा देते है या दूसरे शब्दों में कहे तो कोटिंग को हटा देते है.
- जिस कारण इनेमल में छेद दिखने लगते है.
- वहीं एसिड के इनेमल के नीचे अंदरूनी लेयर तक पहुंच जाने पर कैविटी बन जाती है.
अन्य
- कई अध्ययनों का मानना है कि डाइट में विटामिन डी की कमी के कारण कैविटी हो जाती है.
- कैविटी के अन्य रिस्क फैक्टर जैसे ड्राई माउथ, मुंह में लार का कम बनना, कैंडी, दांतों में चिपकने वाले फ़ूड्स.
- एसिड के कारण हार्टबर्न, दांत ठीक से साफ न करना, शिशु को सोते समय स्तनपान कराना, बार बार कुछ न कुछ खाते रहना आदि हो सकते है.
- एक बार कैविटी के दांतों में प्रवेश कर जाने पर आप घरेलू उपायों से लाभ नहीं पा सकते है.
- इसके लिए आपको डेंटिस्ट से सलाह लेने की जरूरत पड़ेगी.
डॉक्टर से कब मिलें
काफी सारे दांत संबंधी समस्याएं बिना किसी दांतों में दर्द या लक्षण के विकसित हो जाती है. रेगुलर डेंटल चेकअप कैविटी का पता लगाने का सबसे बेहतर तरीका है. समस्या का जल्दी निदान इसे खराब होने से बचा सकता है.
डेंटिस्ट के पास कैविटी का इलाज –
- फलूओराइड ट्रीटमेंट – डॉक्टर द्वारा प्रीस्काइब दवा ली जानी चाहिए.
- क्राउन – इसे कैप भी कहा जाता है जो इसे ज्यादा सड़ने से बचाने के लिए होती है.
- फिल्लिंग – जब कैविटी इनेमल से आगे बढ़ जाती है तब यह मुख्य ट्रीटमेंट होता है.
- रूट कैनाल – जब दांत अंदर तक खराब हो जाता है तब यह किया जाता है.
- दांत निकालना – गंभीर रूप से खराब दांत के लिए यह किया जाता है.
(काले दांतों की समस्या के बारे में पढ़े जरूरी बातें)
अंत में
विटामिन डी, ऑयल पुल्लिंग, मुलेठी की जड़ का चबाना, शुगर फ्री गम, आदि का उपयोग कैविटी को बढ़ने से रोकने में कारगर होती है. जबकि कैविटी के गंभीर मामलों में डॉक्टर द्वारा बताएं गए तरीकों को फॉल कर उचित ट्रीटमेंट लेना चाहिए.
(क्या जरूरी होता है डेंटल इम्पांट जानें)
References –
- https://www.ijdr.in/article.asp?issn=0970-9290;year=2009;volume=20;issue=1;spage=47;epage=51;aulast=Asokan
- https://jada.ada.org/article/S0002-8177(15)01212-X/fulltext
- https://jada.ada.org/article/S0002-8177(14)63879-4/fulltext
- https://www.ncbi.nlm.nih.gov/pmc/articles/PMC3469870/pdf/ijos20113a.pdf
- https://www.mayoclinic.org/diseases-conditions/cavities/symptoms-causes/syc-20352892