दुनियाभर में होने वाली समस्याओं में पेट का इंफेक्शन बच्चों और बड़ों दोनों के लिए परेशानी बनकर रहा है. इस लेख में जानेंगे बच्चों में पेट के इंफेक्शन होने पर क्या करें, लक्षण, इलाज, घरेलू उपाय –

बच्चों में पेट का इंफेक्शन होने पर क्या करें? – Stomach flu in kids in hindi

पेट का इंफेक्शन एक समस्या है जिससे बच्चे और बड़े सभी कभी न कभी परेशान रहे होंगे. अगर बच्चों की बात करें तो उन्हें इंफेक्शन का खतरा अधिक रहता है.

इसका कारण है बिना हाथों को धोएं कुछ भी छु लेना, फूड शेयर करना, आदि. इसके अलावा छोटे बच्चे एक आयु पर आकर हर वस्तु को अपने मुंह में डालते है जिससे पेट में इंफेक्शन का रिस्क बढ़ जाता है.

बच्चों में पेट के इंफेक्शन का इलाज – Treatment of stomach flu in kids in hindi

  • अधिकतर बच्चों को पेट का फ्लू होने पर किसी प्रकार के इलाज की जरूरत नहीं पड़ती है.
  • ध्यान रहें कि एंटीबायोटिक्स दवाएं सिर्फ बैक्टीरिया इंफेक्शन होने पर प्रभावी होती है.
  • डॉक्टर के पास जाकर बच्चे को दिखाएं और बताई गई प्रीस्क्राइब दवाएं दें.

(बैक्टीरियल बनाम वायरल इंफेक्शन के बीच क्या होता है अंतर – जानने के लिए क्लिक करें)

पेट के इंफेक्शन होने के लक्षण क्या होते है? – What are the symptoms of stomach flu in kids in hindi?

इसके होने पर बच्चों को उल्टी और दस्त देखने को मिलते है. सामान्यता यह देखने में ज्यादा बेकार लगता है जबकि बच्चे को 24 घंटे के आसपास उल्टी दस्त के साईकल दिख सकते है. इसके अलावा सामान्य लक्षण जैसे –

  • पतले दस्त
  • मतली
  • सिरदर्द
  • जोड़ों की अकड़न
  • खराब भूख
  • उल्टी
  • ठंड लगना
  • हल्का या काफी मामलों में बुखार नहीं होता
  • मांसपेशियों की ऐंठन
  • थकान
  • नींद न आना

इसके अलावा बच्चे को पेट का फ्लू होने पर वह चिड़चिड़ा या रोते हुए देखे जा सकते है.

पेट का इंफेक्शन क्या होता है? – What is stomach flu in hindi?

  • इसके होने का कारण हमेशा एक ही वायरस नहीं होता है.
  • सामान्यता फ्लू सांस लेने की क्षमता जैसे नाक, गला और फेफड़ों को अटैक करते है.
  • जबकि पेट का फ्लू सीधा आंतों को प्रभावित करता है.

पेट का फ्लू होने पर घरेलू उपाय – home remedies for the stomach flu in kids in hindi?

कई सारे मामलों में बच्चे या शिशु को कई प्रकार के घरेलू उपायों से मदद मिल सकती है.

  • बड़े बच्चों को शरीर में पानी की कमी को रोकने के लिए ओआरएस घोल दें.
  • शिशु को स्तनपान या ठोस भोजन न दें, पेट के स्वत ठीक होने का समय दें.
  • अगर बच्चा बोतल आदि नहीं लेता है तो इसे सिरेंज के माध्यम से कम मात्रा में लिक्विड दें.
  • बच्चे को दूध पिलाएं इससे उसके शरीर में पानी की कमी नहीं होती है.
  • थोड़े बड़े बच्चे को पानी की थोड़ी मात्रा आदि दे सकते है.
  • इसके अलावा बच्चे को पेट के लिए हल्के भोजन दे सकते है.
  • केला, टोस्ट, चावल आदि बच्चे को दिए जा सकते है.
  • सबसे जरूरी कि बच्चे को पूरा आराम मिले.

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डॉक्टर से कब मिलें

  • पेट के फ्लू होने पर गंभीर दस्त हो सकते है लेकिन उसमें खून नहीं आना चाहिए.
  • बच्चे के मल या पेशाब में खून आना किसी गंभीर इंफेक्शन की ओर इंगित करता है.
  • अधिक उल्टी और दस्त के कारण शरीर में पानी की कमी हो सकती है.
  • पेट फ्लू की निम्न कंडीशन में तुरंत डॉक्टर से सलाह लें – तेजी से सांस लेना, हार्ट बीट तेज होना, 8 से 12 घंटे तक डायपर सूखा रहना, पेशाब का रंग गहरा होना, बिना आंसू के रोना या ठीक से रो भी न पाना.
  • बच्चे को अधिक थकान, चिड़चिड़ापन, तेज बुखार, गंभीर पेट दर्द या असहजता, आदि होने पर भी तुरंत डॉक्टर से सहायता लें.

अंत में

काफी सारे बच्चों में पेट का फ्लू 24 से 48 घंटों के बीच ठीक हो जाता है.जबकि कुछ बच्चों में यह अधिकतम 10 दिन तक रह सकते है. पेट के फ्लू से बचाव करने का सबसे अच्छा तरीका की बच्चों को नियमित रूप से हाथ धोना सिखाएं.

इसके अलावा बच्चे को पर्सनल हाइजीन आदतें जरूर सीखाएं. किसी अन्य समस्या या सवाल के लिए डॉक्टर से बात कर सलाह लेनी चाहिए.

Faqs –  बच्चों में पेट का इंफेक्शन – Stomach flu in kids in hindi

पेट में इन्फेक्शन हो तो क्या करें?

  • हल्का भोजन करें – जैसे खीचड़ी या दलिया.
  • प्रोबायोटिक्स का सेवन कर सकते है इससे आंतों को लाभ मिलता है.
  • सब्जीयों का सूप पी सकते है.

बच्चे के पेट में इन्फेक्शन कैसे होता है?

  • दूषित भोजन, पानी, हाथों को न धोना आदि इसके कारण होते है.
  • इसके अलावा फाइबर की कमी, कब्ज की समस्या होना पेट दर्द का कारण बनता है.
  • आंत की समस्या के कारण भी यह हो सकता है.

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पेट में इन्फेक्शन के क्या क्या लक्षण होते हैं?

  • भूख न लगना
  • पेट दर्द
  • बुखार
  • मतली
  • उल्टी
  • मल में ब्लड आना
  • दस्त

References –

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