शरीर के सेंट्रल नर्वस सिस्टम का पार्ट दिमाग होता है. यह शरीर का सबसे जटिल भाग में से एक है. इसमें जानकारी को भेजने और पाने की क्षमता होती है. (जानें – दिमाग की एक्सरसाइज के बारे में)

लेकिन यह काफ़ी जटिल है और डॉक्टर, वैज्ञानिक इसके बारे में पूरा समझ पाने में सक्ष्म नहीं रहे है. आज इस लेख में हम आपको बताने वाले है दिमाग से जुड़ें ऐसे ही कुछ मज़ेदार फ़ैक्ट के बारे में –

दिमाग से जुड़े मज़ेदार फ़ैक्ट – fun facts about brain

  • पाषाण युग से पहले से भी दिमाग की कामयाब सर्जरी के संकेत मिलते है.
  • किसी भी व्यस्क का दिमाग करीब 3 पाउंड होता है.
  • मानव शरीर का करीब 75 फ़ीसदी दिमाग पानी से बना होता है.
  • इसका अर्थ है कि छोटी मात्रा में डिहाइड्रेशन के दिमाग के फंक्शन पर नाकारात्मक प्रभाव पड़ सकते है.
  • स्पर्म वेहल का दिमाग सबसे बड़ा होता है जिसका वजन करीब 20 पाउंड होता है.
  • जीवन के पहले वर्ष में इंसानी दिमाग का विकास तीन गुना साइज में बढ़ता है.
  • जबकि इसका विकास 18 साल की आयु तक रहता है.
  • सिरदर्द का कारण दिमाग में होने वाले केमिकल रिएक्शन के कारण होता है जिसमें सिर और गर्दन के पिछले हिस्से की मांसपेशियां शामिल होती है. (जानें – सिर के पिछले और गर्दन के दर्द के बारे में)
  • मानव दिमाग में करीब हजार करोड़ न्यूरॉन होते है.
  • इंसान सिर्फ अपने दिमाग का 10 फीसद इस्तेमाल करता है यह एक मिथक है.
  • आमतौर पर मानव इसका पूरा उपयोग करता है और रात को सोते समय 10 फ़ीसदी से अधिक दिमाग का इस्तेमाल होता है.
  • याद्दाश्त और सीखने के लिए कोलेस्ट्रोल काफ़ी महत्वपूर्ण है.
  • हालांकि, हाई कोलेस्ट्रोल के अलग प्रभाव होते है जो आयु और अन्य फ़ैक्टर पर निर्भर करते है.
  • हम जो कुछ भी देखते है, सोचते है या करते है, उसकी जानकारी दिमाग के बीच न्यूरॉन में चलती है.
  • यह न्यूरॉन जानकारी को अलग अलग स्पीड पर एक से दूसरी जगह भेजती है.
  • 250mph स्पीड, जानकारी को एक से दूसरी जगह पर तेजी से पहुंचाना काफी तेज़ माना जाता है.
  • जबकि सपनों को कल्पना, मनोवैज्ञानिक कारक और न्यूरोलॉजिकल फ़ैक्टर का संयोजन होता है.
  • इसका मतलब है कि आपका दिमाग सोते समय भी काम करता रहता है.
  • फ़ैंटम लिंब पेन सिंड्रोम तब होता है जब सेंट्रल नर्वस सिस्टम लिंब का दर्द लगातार महसूस करता रहता है.
  • दिमाग दर्द को महसूस नहीं करता है बल्कि दर्द के सिगनल दिमाग तक पहुंचते है लेकिन दिमाग, दर्द महसूस नहीं करता है.
  • जब आप किसी ठंडी वस्तु का सेवन करते है तो ब्रेन फिज़ होता है.
  • इसके दौरान गले के पीछे दिमाग तक ब्लड ले जाने वाली, ब्लड वैसल्स और आर्टरिज ठंडी हो जाती है.
  • इन नसों के ठंडे होने पर सिकुड़न हो जाती है और फिर से गर्म होने पर खुल जाती है जिससे सिरदर्द होता है.
  • 25 की आयु के बाद इंसानों का दिमाग कुछ मेमोरी क्षमता और कॉगनेटिव स्किल खोना शुरू कर देता है.
  • साथ ही आयु बढ़ने के साथ मानव दिमाग छोटा होना शुरू कर देता है. जो अधिकतर आयु के मध्य आने पर शुरू हो जाता है.
  • मिस्त्र में मम्मी बनाने की प्रक्रिया के दौरान नाक के जरिए दिमाग को निकाल दिया जाता था.
  • शराब का प्रभाव दिमाग पर धुंधली दृष्टि, बोलने में परेशानी, चलने में परेशानी आदि होते है.
  • जबकि शराब का नशा उतर जाने पर यह ठीक हो जाता है.
  • वहीं लंबे समय तक शराब का नियमित सेवन करने से दिमाग स्थाई रूप से प्रभावित हो सकता है.
  • लंबे समय के प्रभावों में याद्दाश्त परेशानी और कुछ कॉग्नेटिव फंक्शन कम हो जाते है.
  • दिमाग के लिए किसी भी नए चेहरे को याद रखना थोड़ा कठिन होता है.
  • किसी ट्रॉमा देने वाली कंडीशन के कारण चेहरा याद रख पाने की क्षमता प्रभावित हो जाती है.
  • कंप्यूटर और विडियो गेम कॉग्नेटिव क्षमता को बेहतर करने में मदद कर सकती है.
  • हालांकि, किस प्रकार के विडियो गेम दिमाग को बेहतर करने मे मददगार है इसपर रिसर्च जारी है.
  • हमारा दिमाग शरीर में मौजूद करीब 20 फ़ीसदी ऑक्सीजन का उपयोग करता है.

अंत में

आज के समय में भी दिमाग के बारे में ऐसी बहुत सारी चीज़े है जिनके बारे में डॉक्टर और साइंटिस्ट को पता नहीं है. हालांकि, रोजाना कुछ न कुछ नया सीखना जारी है.

लेकिन रोजाना कुछ रोच़क नया याद करना और सीखना जारी है. शरीर के अन्य हिस्सों की ही तरह दिमाग को भी हेल्दी डाइट, एक्सरसाइज और सही नींद की जरूरत पड़ती है. (जानें – दिमाग के कैंसर के बारे में)

References –

 

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